क्या होता है पर्वत योग? व कैसे होते है पर्वत योग में उतपन्न जातक? व क्यों फलित नही होता है पर्वत योग?
क्या होता है पर्वत
योग?
लग्नेश का स्वामी
जिस राशि में स्थित होता है उसका स्वामी यदि अपनी उच्च राशि या स्वराशि में हो के
केन्द्र ( 1, 4, 7, 10 ) में या त्रिकोण ( 5, 9 ) में स्थित हो तो पर्वत योग होता
है|
उदाहरण
के लिए उपरोक्त कुण्डली में लग्नेश चन्द्रमा पंचम भाव में वृश्चिक राशि में मंगल
की राशि में स्थित है व उस राशि का स्वामी मंगल केन्द्र में दशम भाव में अपनी
स्वराशि मेष में है जो पर्वत योग बना रहा
है|
कैसे होते है पर्वत
योग
में उतपन्न जातक?
पर्वत योग में उत्पन्न जातक धनवान होते है|
पर्वत योग में उत्पन्न जातक सुखी होते है|
पर्वत योग में उत्पन्न जातक द्वारा चिरस्थायी कार्य
सम्पादित होते है|
क्यों फलित नही होता है पर्वत
योग?
लग्नेश का स्वामी
जिस राशि में स्थित होता है उसका स्वामी यदि अपनी उच्च राशि या स्वराशि में हो के
केन्द्र ( 1, 4, 7, 10 ) में या त्रिकोण ( 5, 9 ) में स्थित हो तो पर्वत योग होता
है अब यहा दो कारक ग्रह बनते है पहला लग्नेश व दूसरा लग्नेश का स्वामी जिस राशि
में स्थित होता है वह ग्रह, तो निम्न कारणों से जातक को पर्वत योग कभी
फलित नही होगा—
यदि
लग्नेश बालावस्था, वृद्ध अवस्था या मृत अवस्था में हो तो भी जातक को पर्वत योग कभी अपना पूर्ण फल नही देगा|
यदि
लग्नेश षष्ठ भाव या अष्टम भाव या व्यय भाव का स्वामी हो तो भी जातक को पर्वत योग कभी अपना पूर्ण फल नही देगा|
यदि
लग्नेश षष्ठ भाव या अष्टम भाव या व्यय भाव में हो तो भी जातक को पर्वत योग कभी अपना पूर्ण फल नही देगा|
यदि लग्नेश का स्वामी जिस राशि में स्थित होता है वह
ग्रह बालावस्था, वृद्ध
अवस्था या मृत अवस्था में हो तो भी जातक को पर्वत योग कभी अपना पूर्ण फल नही देगा|
यदि लग्नेश का स्वामी जिस राशि में स्थित होता है वह
ग्रह षष्ठ भाव या अष्टम
भाव या व्यय भाव का स्वामी हो तो भी जातक को पर्वत योग कभी अपना पूर्ण फल नही देगा|
मै आशा करता हू की आपको ये जानकारी
अच्छी लगी होगी| आपको ये जानकारी कैसी लगी इसके बारे में हमें
जरुर बताइयेगा| व आगे इसी तरह की ज्योतिष की जानकारी के लिए
जुड़े रहिएगा..........
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