आइये जानते है कुम्भ राशि के बारे में विस्तार से व कैसे होते है कुम्भ राशि वाले?
क्या होती है कुम्भ राशि
भौतिक लक्षण :
मध्यम कद, ह्दय–पुष्ट, चेहरा सुंदर और गोल, गाल भरे हुए,
कनपटिया और जांधे विकसित होती है| गोला रंग, भूरे बाल, असुन्दर दांत, पिंडलियों
में मस्सा, शरीर पर घने बाल, हाथ और पैर मोटे, नसें विकसित होती है| ( इसका पूर्ण
सम्बन्ध आपके पैतृक व भौगोलिक परिस्थितियों पर निर्भर करता है| )
अन्य गुण धर्म :
कुम्भ राशि वाले मानवीय दृष्टिकोण
और प्रगतिशील जीवन और उसकी समस्याओं के प्रति स्वस्थ दष्टिकोष रखते है|
कुम्भ राशि वाले देखने में सुंदर व
प्रतिभावान होते है|
कुम्भ राशि वाले क्षमाशील स्वभाव के होते है|
कुम्भ राशि वाले संकोची होते है|
कुम्भ राशि वाले निर्णय लेने से पूर्व पूर्ण नापतौल करते है|
कुम्भ राशि वाले अन्य लोगों द्वारा कार्यारंभ करने तक प्रतीक्षा
करते है|
कुम्भ राशि वाले सदा सतर्क रहते है|
कुम्भ राशि वाले धैर्यवान होते है|
कुम्भ राशि वालो की एकाग्रता अच्छी होती है|
कुम्भ राशि वाले अध्ययनशीलता से युक्त रहते है|
कुम्भ राशि वालो का वार्तालाप रूचिकर होता है |
कुम्भ राशि वाले स्पष्टवादी होते है|
कुम्भ राशि वाले सबके प्रिय होते है|
कुम्भ राशि वाले दयालु होते है|
कुम्भ राशि वाले अध्ययन प्रेमी और
सज्जन होते है|
कुम्भ राशि वाले प्रकृतिप्रेमी होते है|
कुम्भ राशि वाले मित्रता निभाते है|
कुम्भ राशि वालो की रूचि–अरुचि तीव्र
होती है|
कुम्भ राशि वाले एकांतप्रिय होते है|
कुम्भ राशि वाले अतीन्द्रिय शक्ति से युक्त होते है|
कुम्भ राशि वालो की ध्यान–साधना में रूचि होती है|
कुम्भ राशि वालो की स्मरणशक्ति तीव्र होती है|
कुम्भ राशि वालो का दृष्टिकोण वैज्ञानिक होता है|
कुम्भ राशि वाले गरीबों के सेवक होते है|
कुम्भ राशि वाले नवीन तकनीक और मशीनरी, अनुसन्धान, निवेश आदि द्वारा
धनार्जन करते है|
कुम्भ राशि वालो की तकनीकी शिक्षा में रूचि होती है|
कुम्भ राशि वालो को परिवार से लगाव होता है|
कुम्भ राशि वाले जीवनसाथी के चुनाव
में आयु की अनदेखी कर बुद्धि और शिक्षा में समानता पर जोर देते है|
कुम्भ राशि वालो का गृह सुसज्जित होता है, जिसमें आधुनिक ढंग से
पुरातात्विक सामग्री एकत्रित रहती है|
कुम्भ राशि वाले अपने प्रेम को
अभिव्यक्त नहीं करते|
कुम्भ राशि वालो का प्रेमी वासनाप्रिय हो तो वह असंतुष्ट होता है,
क्योंकि कुंभ राशि के व्यक्ति शीतल होते है|
संभावित रोग :
संक्रामक रोग, दंत व्याधि, टांन्सिल आदि, 22 से 40 वर्ष की आयु में
संपन्नता रहती है| 41 से 43 वर्ष हथियार, लोहे या काष्ठ से चोट की आशंका रहती है| 44 से 67 वर्ष भाग्यशाली
होते है| 68 वर्ष से बाद समय अशुभ होता है|
मै आशा करता हू की
आपको ये जानकारी अच्छी लगी होगी! आपको ये जानकारी कैसी लगी इसके बारे में हमें
जरुर बताइयेगा! व आगे इसी तरह की ज्योतिष की जानकारी के लिए जुड़े रहिएगा..........
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